लहसुन केवल खाने में इस्तेमाल होने वाला एक पदार्थ नहीं है, बल्कि यह एक गुणकारी दवा भी है। उससे जुकाम, फ्लू, रक्तचाप, कैंसर से बचाव के गुण पाए जाते हैं। आइए इस स्लाइड शो में लहसुन के स्वास्थ्य लाभों के बारे में विस्तार से जानें।
औषधीय गुणों से भरपूर लहसुन सिर्फ खाने में स्वाद ही नही बढ़ाता बल्कि आपके स्वास्थ्य के लिए भी बहुत अच्छा है। इसमें प्रोटीन, विटामिन, खनिज, लवण और फॉस्फोरस, आयरन व विटामिन ए, बी व सी भरपूर मात्रा में पाए जाते हैं। लहसुन के सेवन से शरीर की रोग प्रतिरोधी क्षमता बढ़ती है। साथ ही लहसुन में अलिसिन नामक एंटीबॉयटिक भी पाया जाता है जो बहुत से रोगों को होने से बचता हैं।
लहसुन का नियमित सेवन करने से कैंसर होने का खतरा काफी कम रहता है। 'एनल्स आफ इंटरनल मेडिसिन' की रिपोर्ट के अनुसार, हर हफ्ते पांच कली लहसुन खाने से कैंसर का खतरा 30 से 40 फीसदी कम हो जाता है। लहसुन का एक गुण यह भी है कि यह आपकी रोग प्रतिरोधक क्षमता में इजाफा करता है।
उच्च रक्तचाप को दूर करने में भी लहसुन काफी फायदेमंद होता है। इसमें मौजूद एलिसिन नामक तत्व उच्च रक्तचाप को सामान्य करने में मदद करते है। उच्च रक्तचाप के मरीज अगर नियमित रूप से लहसुन का सेवन करते है तो इससे उनका रक्चाप नार्मल रहता है। 'जर्नल आफ न्यूट्रीशन' के अनुसार, रोजाना लहसुन के सेवन से कोलेस्ट्राल में 10 फीसदी की गिरावट आती है, जिससे हृदयरोगों की संभावना कम हो जाती है।
लहसुन की तासीर गर्म होने के कारण यह ठण्ड को दूर करने का कुदरती उपाय है। कई शोध इस बात को साबित कर चुके हैं कि ठंड के दिनों में लहसुन के सेवन से सर्दी नहीं लगती। सर्दियों के मौसम में गाजर, अदरक और लहसुन का जूस बनाकर पीने से शरीर को एंटीबायोटिक्स मिलते हैं और ठंड कम लगती है। सर्दी-जुकाम में लहसुन रामबाण है, इसे दूध में उबालकर पिलाने से बच्चों में रोग प्रतिरोधक क्षमता बढ़ती है।
लहसुन में एंटी बैक्टीरियल तत्व होते है जो दांत पर सीधा प्रभाव डालते है। लहसुन दांतों के दर्द से भी राहत दिलाने का काम करता है। लहसुन को लौंग के साथ पीसकर दांतों के दर्द वाले हिस्से पर लगाने से दर्द से तुरंत राहत मिलती है।
लहसुन डायबिटीज रोगियों के लिए भी फायदेमंद होता है। यह शरीर में शुगर के स्तर को नियंत्रित कर इन्सुलिन की मात्रा को बढ़ा देता है जिससे डायबटीज की बीमारी में राहत मिलती है।
लहसुन उन लोगों लिए भी बहुत फायदेमंद होता है जिनका खून गाढ़ा होता हैं। यह शरीर में रक्त प्रवाह सुचारू बनाए रखता है। खून का पतला करता है जिससे आप कई संभावित रोगों से बचे रहते हैं।
गर्भावस्था के दौरान लहसुन का नियमित सेवन मां और शिशु, दोनों के स्वास्थ्य के लिए बेहद फायदेमंद होता है। गर्भवती महिलाओं को लहसुन का सेवन नियमित तौर पर करना चाहिए। यह गर्भ के भीतर शिशु के वजन को बढ़ाने में सहायक होता है।
लहसुन में मौजूद एंटी इंफ्लामेटरी तत्व एलर्जी को दूर करने में मदद करता है। अगर लहसुन का नियमित रूप से सेवन किया जाए तो शरीर में एलर्जी से होने वाले निशान और चकतों की समस्या भी दूर हो जाती है।
लहसुन के सेवन से शरीर में टी-सेल्स, फैगोसाइट्स, लिंफोसाइट्स आदि प्रतिरोधी तत्व बढ़ते हैं। इन सब के बढ़ने के कारण शरीर की प्रतिरोधी क्षमता बढ़ जाती है। इससे किसी भी प्रकार के संक्रमण का प्रभाव शरीर को तुरंत नहीं होता।
गठिया और अन्य जोड़ों के रोग में भी लहसुन का सेवन बहुत ही लाभदायक है। लहसुन को नियमित रूप से सेवन करने से जोड़ों के दर्द में आराम मिलता है। अगर आपको लहसुन चबाना पसंद नही है। तो ऐसे में आप सुबह उठने के बाद खाली पेट लहसुन की कली को कैपसूल की तरह भी खा सकते हैं।
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