
यदि किसी महिला को एक दिन में कई बार उल्टियां हों, तो ये सामान्य नहीं है। आमतौर पर प्रेग्नेंसी के दौरान महिलाओं को सुबह के समय मितली और उल्टी जैसी समस्याएं होती हैं। मगर दिन में 3 से ज्यादा उल्टियों का कारण हाइपेरेमिसिस ग्रेविडेरम हो सकता है।
गर्भावस्था के शुरुआती लक्षणों में उल्टियां होना सामान्य है। मगर यदि किसी महिला को एक दिन में कई बार उल्टियां हों, तो ये सामान्य नहीं है। आमतौर पर प्रेग्नेंसी के दौरान महिलाओं को सुबह के समय मितली और उल्टी जैसी समस्याएं होती हैं। मगर दिन में 3 से ज्यादा उल्टियों का कारण हाइपेरेमिसिस ग्रेविडेरम हो सकता है। ये एक खतरनाक स्थिति हो सकती है। हाइपेरेमिसिस ग्रेविडेरम को मॉर्निंग सिकनेस समझकर नजरअंदाज करना कई बार गर्भवती महिलाओं के लिए खतरनाक हो सकता है।
क्या है मॉर्निंग सिकनेस
गर्भावस्था के दौरान महिला का शरीर कई बदलावों से गुजरता है और कई परेशानियों का सामना भी करता है। गर्भधारण के बाद पहली तिमाही में सबसे ज्यादा मॉर्निंग सिकनेस की समस्या होती है। मॉर्निंग सिकनेस सिर चकराने और उल्टी की शिकायत होती है। मॉर्निंग सिकनेस में दवाओं के प्रयोग से बचना चाहिए, क्योंकि यदि इस दौरान दवाओं का अधिक सेवन किया गया तो इसका असर बच्चे पर पड़ता है और बच्चे के अंगो का समुचित विकास नही हो पाता।
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मॉर्निंग सिकनेस और हाइपेरेमिसिस ग्रेविडेरम
मॉर्निंग सिकनेस के दौरान यदि बार–बार और ज्यादा मात्रा में उल्टियां होने लगे और इसके कारण उसके पेट में कोई भी अन्य तरल पदार्थ का रुकना मुश्किल हो जाए तो इसपर ध्यान दीजिए। ये लक्षण हाइपेरेमिसिस ग्रेविडेरम के हो सकते हैं। मॉर्निंग सिकनेस आमतौर पर गर्भावस्था के पहले महीने से शुरू होती है और और तीसरे महीने तक खत्म हो जाती है। इस दौरान होने वाली 2-1 उल्टियों से कोई खतरा नहीं होता है। लेकिन ज्यादा उल्टी होने के कारण शरीर में पानी की कमी हो जाती है, जो खतरनाक हो सकता है।
हाइपेरेमिसिस ग्रेविडेरम के लक्षण
- दिन में 3-4 बार से ज्यादा उल्टी होना
- बार-बार जी मिचलाना
- भूख कम लगना
- शरीर में पानी की कमी हो जाना
- चक्कर आना और सिर हल्का मबसूस होना
- अचानक से कई किलो वजन घट जाना
किसे होता है हाइपेरेमिसिस ग्रेविडेरम का खतरा
गर्भावस्था के दौरान मॉर्निंग सिकनेस का प्रमुख कारण स्त्री के शरीर में तेजी से हो रहे हार्मोनल बदलाव। लेकिन कुछ विशेष परिस्थितियोँ के कारण कुछ महिलाओं को मॉर्निंग सिकनेस की गंभीर स्थितियों का सामना करना पड़ता है। जैसे की अगर गर्भवती महिला को डायबिटीज है या फिर उसके गर्भ में जुड़वाँ बच्चे हो तो उस महिला को दूसरी महिलाओं की तुलना में मॉर्निंग सिकनेस के ज्यादा गंभीर स्थितियों का सामना करना पड़ता है।
क्या होता है खतरा
हाइपेरेमिसिस ग्रेविडेरम गर्भवती महिलाओं के लिए खतरनाक होता है क्योंकि शरीर में पानी की कमी की वजह से गर्भ में पल रहे शिशु के विकास में बाधा आती है। कई बार इसके कारण महिला के किडनी और लिवर में समस्या आ जाती है। इशके अलावा कई बार शिशुओं में स्नायुतंत्र से जुड़ी समस्याएं भी हो जाती हैं।
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